अनुराग वर्मा ने पंजाब के 42वें मुख्य सचिव के तौर पर पद संभाला

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अनुराग वर्मा ने पंजाब के 42वें मुख्य सचिव के तौर पर पद संभाला

साफ़, प्रभावशाली, जवाबदेही और पारदर्शी प्रशासकीय सेवाएं मुहैया करवाना होगी प्राथमिकता- अनुराग वर्मा

चंडीगढ़………..1993 बैच के आई.ए.एस. अधिकारी श्री अनुराग वर्मा ने शनिवार को राज्य के 42वें मुख्य सचिव के तौर पर कार्यभार संभाला। उन्होंने आज नया पद पंजाब सिविल सचिवालय में मुख्य सचिव के तौर पर सेवा मुक्त हुए श्री विजै कुमार जंजुआ और सीनियर सिविल अधिकारियों की उपस्थिति में संभाला।

 

पटियाला में अध्यापक परिवार में पैदा हुए श्री वर्मा के पास मुख्य सचिव के मौजूदा पद के इलावा प्रमुख सचिव परसोनल और विजीलैंस का अतिरिक्त चार्ज भी रहेगा।

 

आज उनके पद संभालने के अवसर पर उपस्थित सीनियर अधिकारियों में डी.के.तिवाड़ी, कुमार राहुल, मालविंदर सिंह जग्गी, विपुल उज्जवल, रामवीर, सोनाली गिरि, ईशा कालिया, गोरी पराशर जोशी, पुनीत गोयल, भुपिन्दर सिंह, नीरू कतियाल गुप्ता और सुखजीत पाल सिंह भी शामिल थे।

 

नए मुख्य सचिव के तौर पर पद संभालने के बाद बात करते श्री अनुराग वर्मा ने कहा कि मुख्य मंत्री भगवंत मान के नेतृत्व में सेहत, शिक्षा और राज्य के सर्वपक्क्षीय विकास पर ध्यान केंद्रित करने के इलावा राज्य के लोगों को साफ़, प्रभावशाली, जवाबदेही और पारदर्शी प्रशासकीय सेवाएं मुहैया करवाना उनकी प्राथमिकता होगी। उन्होंने कहा कि नई ज़िम्मेदारी को वह लगन, मेहनत, दृढ़ता के साथ निभाते हुए राज्य सरकार की तरफ से शुरू की लोक भलाई योजनाओं को निचले स्तर पर लागू करने पर ज़ोर देंगे।

 

श्री वर्मा ने कहा कि पंजाब सरहदी राज्य होने के साथ-साथ देश का अन्न भंडार भरने वाला है जिसकी देश में अहम भूमिका है। वह सभी सिविल और पुलिस अधिकारियों के साथ समूह सरकारी कर्मचारियों को साथ ले कर पंजाब को देश का अग्रणी राज्य बनाने के लिए कोशिश करेंगे।

 

मुख्य सचिव ने कहा कि वह ज़मीनी स्तर पर लोगों के सुझावों को साथ ले कर राज्य सरकार के लिए बढिया नागरिक सेवाएं लागू करने पर ध्यान देंगे, ताकि लोगों के कल्याण के लिए सरकार की तरफ से किए जा रहे कामों का जनता को पूरा लाभ मिल सके। इसी तरह लोगों की शिकायतों को प्राथमिकता के आधार पर प्रभावशाली ढंग के साथ तत्काल हल पर ज़ोर दिया जाएगा।

 

बता दे कि श्री वर्मा का पैतृक गांव पटियाला जिले में चलैला है। थापर कालेज पटियाला से इलैक्ट्रानिकस और कम्युनिकेशन की इंजीनियरिंग की डिग्री के गोल्ड मैडलिस्ट श्री वर्मा ने 1993 में यू.पी.एस.सी.सिविल सेवा परीक्षा में देश भर में से सातवां स्थान प्राप्त किया था।

 

श्री वर्मा इस से पहले अतिरिक्त मुख्य सचिव गृह, उद्योग और कामर्स, कानूनी और विधानक मामले, सूचना प्रौद्यौगिकी और निवेश प्रोत्साहन के तौर पर सेवाएं निभा रहे थे। उससे पहले उन्होंने ग्रामीण विकास और पंचायतों, आबकारी और कराधान और राजस्व विभाग में शानदार सेवाएं निभाई। विशेष सचिव राजस्व के तौर पर नई पहल करते राजस्व रिकार्ड के कम्प्यूटरीकरन और फ़र्द केन्द्रों की शुरुआत की। आबकारी और कर कमिश्नर के तौर पर लोगों के लिए टैक्स भरने की प्रक्रिया सरल बनाते राजस्व बढ़ाने में अहम भूमिका निभाई। वित्त कमिश्नर ग्रामीण विकास पर पंचायत के पद पर रहते गाँवों के लिए अहम योजना मगनरेगा को सफलतापूर्वक ढंग से लागू किया और 1000 से अधिक गाँवों में सेहतमंद माहौल सृजन करते खेल मैदान और खेल पार्क बनाए।

 

हैडक्वाटर में अलग- अलग सेवाएं निभाने से पहले फील्ड पोस्टिंग दौरान श्री वर्मा ने बठिंडा, लुधियाना और जालंधर जैसे अहम जिलों के डिप्टी कमिशनर के तौर पर बढिया और कुशल भरपूर सेवाएं निभाई।

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